Monday, April 5, 2021

राम गए हैं वनवास - Ram Gaye Hain Vanvaas - LYRICS-

राम गए हैं वनवास सीता करें एकादशी
कहो तो सीता तुमको टीका बनवाए दूं
गोरा बदन कुम्हलाई सीता छोड़ो एकादशी

टीका तो मेरे माथे की शोभा ग्यारस करे उद्धार
मैं न छोडूं एकादशी, राम गए हैं वनवास....

(इसी प्रकार से सभी जेवर के नाम बोलकर भजन
को आगे बढ़ाना है)

Sunday, April 4, 2021

आलू का चिनाया महल - Aaloo Ka Chinata Mehal - LYRICS-

आलू का चीनाया महल महल जाने कैसा

मेरे संग की पूछे बात ससुर तेरा कैसा
ठेले पे बेचे बेर माली ऐसा 
आलू का चीनाया महल महल जाने कैसा

मेरे संग की पूछे बात सास तेरी कैसी
छप्पर पे जाते सूत भूतनी ऐसी
आलू का चीनाया महल महल जाने कैसा

मेरे संग की पूछे बात जेठ तेरा कैसा
सड़कों पे बजावे ढोल बाजैया ऐसा
आलू का चीनाया महल महल जाने कैसा

मेरे संग की पूछे बात देवर तेरा कैसा
गलियों में नाचें नाच हिजड़ा ऐसा
आलू का चीनाया महल महल जाने कैसा

मेरे संग की पूछे बात नन्द तेरी कैसी
बादल में लगा अाई आग बिजुरिया ऐसी
आलू का चीनाया महल महल जाने कैसा

मेरे संग की पूछे बात पति तेरा कैसा
उठते ही बनावे चाय रसोइया ऐसा
आलू का चीनाया महल महल जाने कैसा

जगत में किसने सुख पायो- Jagat Me Kisne Sukh Payo- LYRICS-

जगत में किसने सुख पायो, आयो जो पछतायो

पांच पति की द्रौपदी नारी, गर्व में फूली नहीं समाती
जुए में दांव लगायो, जगत में....

राजा हरिश्चंद्र तारा रानी, डोम के घर भरते पानी
समय ने रंग दिखाया, जगत में....

बीस भुजा जाको नाम दशानन, वश में कर लिया
शिव चतुरानान,फिर भी शीश कटायो,जगत में....

जनकपुरी की raajdulaari, अवधपुरी की बनी बहुरानी
वन ने समय बिताया, जगत में....

सूखी वाहिहैजगमे भैया, दूजा नहीं है कोई खिवैया
राम नाम गुण गायो, जगत में....

Saturday, April 3, 2021

मेरी बिगड़ी बात बना जा - Meri Bigdi Baat Bana Ja - LYRICS-

https://youtu.be/12ddBblOUMg


मेरी बिगड़ी बात बना जा हनुमान प्यारे भैया
पहला दुख पिता मरण का दूजा दुख सिया हरण का
तीजा हां तिजा लक्ष्मण भैया हनुमान प्यारे भैया
मेरी बिगड़ी बात बना जा हनुमान प्यारे भैया

तुम लंकपुरी को जाना सीता का पता लगाना
लंका  को  लंका को जलाकर आना हनुमान प्यारे भैया
मेरी बिगड़ी बात बना जा हनुमान प्यारे भैया

तुम लांकपुरी को जाना वहां से वैद्य सुषेण को लाना
लक्ष्मण की भैया की नब्ज़ दिखाना हनुमान प्यारे भैया
मेरी बिगड़ी बात बना जा हनुमान प्यारे भैया

तुम द्रोणागिरी को जाना संजीवन  बूटी लाना
लक्ष्मण को भैया को घोंट पिलाना हनुमान प्यारे भैया
मेरी बिगड़ी बात बना जा हनुमान प्यारे भैया

Thursday, April 1, 2021

तकदीर बनाने वाले ने - Takdeer banane vaale ne - LYRICS-

तकदीर बनाने वाले ने कैसी तकदीर बनाई है

जब पास में पैसा होता है तब दुनियां भी अपनाती है
जब पास में पैसा न हो तो तो दुनियां भी ठुकराती है
तकदीर बनाने वाले ने कैसी तकदीर बनाई है

जब गोद में ललन होता है तब सासू प्यार लुटाती है
जब गोद में लालन न हो तो सासू भी ताने सुनाती है
तकदीर बनाने वाले ने कैसी तकदीर बनाई है

जब काया कंचन होती है तो साजन प्यार लुटाते हैं 
जब काया धूमिल हो जाए तो साजन भी झुंझलाते हैं
तकदीर बनाने वाले ने कैसी तकदीर बनाई है

अब तो हरि का तू सुमिरन कर हरि सुमिरन में बड़ी शक्ति है, जब हाथ हो सर पे उस हरि का तो नैया पारहो जाती है      तकदीर बनाने वाले ने कैसी तकदीर बनाई है

खोलो हृदय के ताले - Kholo Hriday Ke Taale - LYRICS-



https://youtu.be/LTkpnESpfCk
खोलो हृदय के ताले मैया जी मेरा भाग्य लिख दो

पहला भाग्य मेरे माथे का लिखना
शीश jhukaaun बारंबार,   मैया जी मेरा भाग्य लिख दो
खोलो हृदय के ताले मैया जी मेरा भाग्य लिख दो

दूजा भाग्य मेरी आंखों का लिखना
दर्शन करूं बारंबार,   मैया जी मेरा भाग्य लिख दो
खोलो हृदय के ताले मैया जी मेरा भाग्य लिख दो

तीजा भाग्य मेरे कानों का लिखना
सत्संग सुनूं बारंबार,   मैया जी मेरा भाग्य लिख दो
खोलो हृदय के ताले मैया जी मेरा भाग्य लिख दो

चौथा भाग्य मेरी जिव्याह का लिखना
सुमिरन करूं बारंबार,   मैया जी मेरा भाग्य लिख दो
खोलो हृदय के ताले मैया जी मेरा भाग्य लिख दो

पांचवां भाग्य मेरे हाथों का लिखना
दान करूं बारंबार,  मैया जी मेरा भाग्य लिख दो
खोलो हृदय के ताले मैया जी मेरा भाग्य लिख दो

छठा भाग्य मेरे पैरों का लिखना
दार पे आऊं मैं बारंबार,  मैया जी मेरा भाग्य लिख दो
खोलो हृदय के ताले मैया जी मेरा भाग्य लिख दो


Wednesday, March 31, 2021

Lagai Mose Preet - लगाई मोसे प्रीत -LYRICS -

https://youtu.be/nX6pBgbcLyE

लगाई मोसे प्रीत क्यों तोड़ी रे

छूटे मैया छूटे बाबुल रे, छूटो मेरी छू टो मेरो छोटो सो भैया रे, लगाई मोसे प्रीत क्यों तोड़ी रे

मिलाओ मैया मिलाओ बाबुल रे, मिलाओ मेरो छोटो सो भैया रे, लगाई मोसे प्रीत क्यों तोड़ी रे

किधर गंगा किधर यमुना रे, किधर बेईमान के डेरा रे
लगाई मोसे प्रीत क्यों तोड़ी रे

पूरब गंगा पश्चिम जमुना रे, बीच बेईमान के डेरा रे
लगाई मोसे प्रीत क्यों तोड़ी रे

ले आओ स्याही ले आओ कागज रे, लिखूं बेईमान को पाती रे, पढे पाती फटे छाती रे,बाहें बेईमान के आंसू रे
लगाई मोसे प्रीत क्यों तोड़ी रे