https://youtu.be/EaBA-Fq2zSY
छोड़ चली सब सखी सहेली, भोले संग चल पड़ी अकेली
वो तो कर रही सोच विचार मां गौरा बैठी डोली में
कर सोलह सिंगार मां गौरा बैठी डोली में
चले कहार उठा के डोला, आगे आगे शंकर भोले
नन्दी पे असवार मां गौरा बैठी डोली में
कर सोलह सिंगार मां गौरा बैठी डोली में
झूमें सर्प आज लेहरा के, नाचें भूत भी धूल उड़ा के
कैसी हो रही है जय जय कार मां गौरा बैठी डोली में
कर सोलह सिंगार मां गौरा बैठी डोली में
कहें भक्त तेरे किस्मतवाला ब्याह भोले का बड़ा निराला
दंग है सारा संसार मां गौरा बैठी डोली में
कर सोलह सिंगार मां गौरा बैठी डोली में
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